पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता डॉ. मोहम्मद फैजल ने गुरुवार को कहा कि कुलभूषण जाधव (49) को दूसरी बार कॉन्सुलर एक्सेस नहीं दिया जाएगा। इससे पहले आईसीजे के आदेश के बाद 2 सितंबर को पाकिस्तान ने कुलभूषण को कॉन्सुलर एक्सेस देने का प्रस्ताव दिया था।
लेकिन, इस मुलाकात के बाद भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा था कि एक घंटे की इस मुलाकात के दौरान यह स्पष्ट था कि कुलभूषण अत्यधिक दबाव में थे। उन पर पाक के झूठे दावे को सही साबित करने का दबाव दिखाई दे रह था।
कुलभूषण 3 साल से ज्यादा वक्त से पाक जेल में बंद हैं।
भारत के रिटायर्ड नेवी अफसर जाधव को पाक की सैन्य अदालत ने अप्रैल 2017 में जासूसी और आतंकवाद के आरोप पर मौत की सजा सुनाई थी। इसके बाद भारत मामले को हेग (नीदरलैंड) स्थित अंतरराष्ट्रीय अदालत (आईसीजे) में ले गया था। कोर्ट ने जाधव की फांसी पर रोक लगा दी थी। इस साल जुलाई में आईसीजे ने पाक को आदेश दिया था कि वह बिना देर किए जाधव को कॉन्सुलर एक्सेस मुहैया करवाए।
पाक विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल ने रविवार को कहा था कि जाधव को वियना कन्वेंशन के तहत काउंसलर एक्सेस मिलेगा। उन्होंने कहा यह एक्सेस आईसीजे के फैसले और पाकिस्तान के कानून के तहत दिया जाएगा। पाकिस्तान सरकार ने आईसीजे के फैसले के 11 दिन बाद कुलभूषण को सशर्त एक्सेस देने का निर्णय लिया था।